आदेश के बावजूद 87,000 मध्यान्ह भोजन कर्मियों को नहीं दिया गया बढ़ा वेतन- सीटू
मध्यान्ह भोजन मजदूर एकता यूनियन छत्तीसगढ़ (सीटू) की जिला समिति-धमतरी, ने सौंपा ज्ञापन
धमतरी। प्रदेश के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आजादी पर्व पर मध्यान्ह भोजन मजदूरी मानदेय में 500 रूपये मासिक बढ़ोतरी की घोषणा करके वाहवाही तो बटोरली, शिक्षा विभाग द्वारा पत्र क्र. एफ 4-11/2023 जारी कर इसी घोषणा का तामीली आदेश जारी कर दिया गया। परन्तु गौरतलब रहे कि समूचे प्रदेश में 87000 से अधिक मध्यान्ह भोजन मजदूर बीते (2) दो माह से इस मानदेय के इंतजार में हैं, सवाल खड़ा है आखिर घोषणा को अमलीजामा इस दीपावली से पहले क्यों नहीं पहनाया गया ? सरकार बेख़बर हुई तो क्या दिवाली अंधेरे में कटने वाली है ? ऐसा कहना है मध्यान्ह भोजन मजदूर एकता यूनियन (सीटू) के संरक्षक समीर कुरैशी का।
सीटू पदाधिकारियों ने शिक्षा मंत्री के नाम कलेक्टर को ज्ञापन सौंपकर दीपावली से पहले पूरा मानदेय भुगतान की मांग की है। लेकिन कल ही दीवाली है। अब काबिज सरकार का कथनी पर खरा उतरना जरूरी है, उधर इलेक्शन सर पर है ??
सरकार चेत जाए तो बेहतर
सरकार को सीटू ने चेतावनी देते हुए मानदेय न मिलने पर काली दिवाली को लेकर आगामी 17 नवम्बर को चुनावी कार्यों का बहिष्कार करने की बात प्रकाश में आई है। सीटू नेता ने बताया कि उनकी यूनियन कई वर्षों से रसोइयों को कलेक्ट्रेट दर से मजदूरी देने की मांगों पर संघर्ष कर रही है। इन संघर्षों का ही नतीजा है कि सरकार को उनके मानदेय में वृद्धि करने की घोषणा करने के लिए मजबूर होना पड़ा । इसके बावजूद भी यदि रसोईया मजदूरों को, जिनमें ज्यादातर महिलाएं हैं, सभी को पिछले दो माह का बकाया मानदेय नहीं मिला, तो चुनाव कार्यों का बहिष्कार होना तय है।
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