आशा कार्यकर्ताओं ने मुख्यमंत्री के नाम 7 सूत्रीय मांगो को लेकर सौंपा ज्ञापन

उमरिया। आशा कार्यकर्ता सरकार के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण के अधिनस्त मध्यप्रदेश की 85000आशा कार्यकता शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्र में लोगों की स्वास्थ्य जानकारी हेतु सर्वे टीकाकरण, स्वच्छता जांच, बच्चा देखभाल, संस्थागत प्रसव, मात्र पितृ, शिशु मृत्यु रोकथाम, आयुष्मान कार्ड बनवाने, टी वी, कुष्ठरोग, मलेरिया, डेंगू, हाथी पांव जैसी गंभीर स्वास्थ्य सेवाओं में अपना योगदान देते आ रही है। जिसके लिए उन्हें कोई मानदेय या वेतन नहीं दिया जाता बल्कि अल्प प्रोत्साहन राशि का भुगतान किया जाता है आशा कार्यकर्ताओं के द्वारा किए गए कार्य से स्वास्थ्य के क्षेत्र में क्रांतिकारी परिवर्तन करते हुए स्वास्थ्य सुविधा का लाभ समाज के अंतिम व्यक्ति तक पहुंचा रहे हैं ,उनके कार्य की प्रशंसा करते हुए सरकार एवं समाज उन्हें स्वास्थ्य विभाग की रीड की हड्डी मानते हैं लेकिन यह भी सच है सरकार इन्हें जीविका एवं भरण पोषण पर कोई ज्ञान नहीं दिया जा रहा, बावजूद इसके कोविडकाल के दौरान आशा कार्यकर्ताओं ने खुद को खतरे में डालकर पूरी ईमानदारी पर लग्न के साथ सरकार के आदेश का पालन किया, समाज को कोविड महामारी से बचाने में सहायता की।
आशा, उषा महिला संगठन मांग करता है कि आशा कार्यकर्ता बहनों के जीवन स्तर में सुधार करने के हेतु ज्ञापन में दिए गए बिंदु बार मांगो को पूरा करें।
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